RSS: संघ के सौ वर्ष पूर्ण होने पर अब प्रत्येक हिन्दू का कर्तव्य है कि राष्ट्र, धर्म व संस्कृति की रक्षा के इस महान अभियान में अपनी आहुति भी डाले.. संघ से जुड़ें और परिवार को भी जोड़ें..
नयी सदी का नया सवेरा,नव संदेशा लाया है।
बढ़ते जाना संघ मार्ग पर,जो हमने अपनाया है।।ध्रु।।
नव उमंग से मिलकर हमको,आगे कदम बढ़ाना है,
हिन्दू संगठन सुदृढ़ करने,हर घर अलख जगाना है,
परिवर्तन के पंच मन्त्र ने, नव चैतन्य जगाया है।१।
बढ़ते जाना संघ मार्ग पर,जो हमने अपनाया है।।
व्यक्ति-व्यक्ति का करें प्रबोधन,संस्कारी परिवार बनें,
घर-बाहर शुभ व्यवहारों से,समरस मन संस्कार बनें,
वृक्ष लगा परिवेश बचाने,का संकल्प सजाया है।२।
बढ़ते जाना संघ मार्ग पर,जो हमने अपनाया है।।
धर्म आधारित जीवन रचना,संस्कृति का आधार रही,
सदा स्वदेशी अर्थव्यवस्था,राष्ट्र शक्ति आधार रही,
बिना स्वावलंबन क्या कोई, विश्वगुरु बन पाया है।३।
बढ़ते जाना संघ मार्ग पर,जो हमने अपनाया है।।
संविधान में हर इक जन के,हैं कर्तव्य और अधिकार,
राष्ट्र हेतु कर्तव्य साधना,हर इक नागरिक का अधिकार,
“स्वत्व” भाव मन ले पुरखों ने,निज कर्तव्य निभाया है।४।
बढ़ते जाना संघ मार्ग पर,जो हमने अपनाया है।।
(अचिरतोष ‘विधु’, गाजियाबाद। २२-१०-२०२४)